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ब्रेकिंग : पूर्व प्रधानमंत्री के मीडिया सलाहकार हुए ठगी का शिकार, शराब के नाम पर लगाया चूना, आरोपी गिरफ्तार

Poonam Shukla
Last updated: 2020/06/28 at 3:38 PM
Poonam Shukla
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3 Min Read
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नई दिल्ली। पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह (Dr Manmohan Singh) के मीडिया सलाहाकार रहे व बहु चर्चित ‘द एक्सीडेंटल प्राइम मिनिस्टर’ पुस्तक लिखने वाले संजय बारू के साथ ठगी होने के मामला सामने आया है। लॉकडाउन के दौरान लॉनलाइन शराब बेचने के नाम पर जालसाजों ने उनसे करीब 24 हजार रुपये ठग लिए। दक्षिण जिले की साइेबर सेल ने लॉकडाउन के दौरान ऑनलाइन शराब बेचने की बात कहकर ठगी करने वाले इस बड़े गिरोह का पर्दाफाश एक आरोपी को कामा, भरतपुर राजस्थान से गिरफ्तार किया है। इस गिरोह का नेटवर्क पूरे भारत में फैला हुआ है। ये लॉकडाउन के दौरान कई लोगों के साथ ठगी कर चुके हैं। 

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आरोपी ने ऑनलाइन शराब की फर्जी वेबसाइट बना रखी थी और वह लॉकडाउन को दौरान लोगों को ठगने का काम कर रहा था । पुलिस को दिये शिकायत के अनुसार, ‘2 जून को संजय बारू शराब खरीदने के लिए ऑनलाइन सर्च कर रहे थे। गूगल सर्च के दौरान उन्हें एक ऑनलाइन शॉप दिखा. उन्होंने वहां से नंबर लेकर फोन किया। दूसरी तरफ से उन्हें ऑनलाइन पेमेंट के लिए कहा गया था। संजय बारू लॉकडाउन के दौरान इंटरनेट पर ऑनलाइन शराब की दुकान सर्च कर रहे थे। गूगल पर सर्च करने के दौरान संजय को फेसबुक पर एक पेज मिला, जिसका नाम था La Cave Wine shop । उन्होंने जैसे ही पैसे जमा कराए, आरोपी मोबाइल आदि बंद कर गायब हो गए। 

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मामले की जांच साइबर सेल इंस्पेक्टर अजीत कुमार, एसआई विजय पाल, एसआई वरुण गुलिया व एएसआई सुरेन्द्र कुमार को सौंपी गई। पुलिस ने मोबाइल नंबर व बैंक खातों की डिटेल खंगाली तो पता लगा कि सभी फर्जी आईडी से लिए हुए हैं। पुलिस को जांच में ये पता लगा कि ठगी का पैसे जिन बैंक खातों में गया है वह असम, महाराष्ट्र, पंजाब और राजस्थान के हैं। ये भी पता लगा कि ठगी का पैसा कामा भरतपुर, राजस्थान निवासी आकिब जावेद के पीएनबी बैंक खाते में गया है। एसआई विजय पाल की टीम ने कामा भरतपुर से अकिब जावदे को गिरफ्तार कर लिया।

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पेशे से ओला कैब चालक आकिब ने बताया कि गिरोह काफी बड़ा है और पूरे भारत में इसका नेटवर्क फैला हुआ है। वह गिरोह से कुछ दिन पहले ही जुड़ा था। ठगी का पैसा बैंक में आते ही पांच से दस मिनट में बैंक खातें में ट्रांसफर कर लेते थे। ये बैंक खाते विभिन्न राज्यों में फर्जी आईडी आदि से खुले हुए होते थे। या ये इन राज्यों में जाकर लोगों से उनका बैंक खाता खरीद लेते थे। गिरोह के मुख्य सदस्यों के गिरफ्त में आने के बाद ही ये पता लगेगा कि ये कितने लोगों के साथ ठगी कर चुके हैं। आठवीं पास आरोपी आकिब के खिलाफ पहले से कोई मामला दर्ज नहीं है। 

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TAGGED: ठगी का शिकार, पूर्व प्रधानमंत्री, मीडिया सलाहकार, शराब
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