बिलासपुर। प्रदेश के आईएएस अधिकारी अनिल टुटेजा और डाॅ0 आलोक शुक्ला के खिलाफ दर्ज मामले में सुनवाई 14 जुलाई को हो चुकी थी, जिस पर फैसला हाईकोर्ट ने सुरक्षित रख लिया था। आज एक माह बाद इस मामले में हाई कोर्ट की न्यायमूर्ति अरविंद सिंह चंदेल की एकल पीठ ने अग्रिम जमानत याचिका पर अपनी मुहर लगा दी है।
बता दें कि इस मामले में ईडी ने याचिका दायर की थी। ईडी की ओर से डाॅ. सौरभ पांडेय और एएसजी गोपा कुमार ने अपना पक्ष रखा, तो दोनों आईएएस अधिकारी की ओर से अधिवक्ता अविनिंदर सिंह एवं आयुष भाटिया के साथ आदित्य तिवारी ने पैरवी की।
बता दें कि नान प्रकरण में पहले ही दोनों आईएएस अधिकारियों को हाई कोर्ट से अग्रिम जमानत मिल चुकी है। कोर्ट ने अपने इस फैसले में कहा कि दोनों आरोपित अधिकारियों के खिलाफ कोई भी प्रत्यक्ष साक्ष्य नहीं मिला है, जिसकी वजह से अग्रिम जमानत दिया जाना उचित होगा।
वहीं रायपुर के प्रवर्तन निदेशालय द्वारा मनी लॉन्ड्रिंग का मामला जनवरी, 2019 मे दर्ज किया गया था जो कि एन्टी करप्शन ब्यूरो और आर्थिक अपराध अन्वेषण शाखा, रायपुर द्वारा वर्ष 2015 में पंजीकृत अपराध से उत्त्पन्न हुआ है।