राजनांदगांव। जिले के सोमनी थाना क्षेत्र में ढ़ाबा संचालक के बेटे के अपहरणकांड में नई जानकारी सामने आ रही है। मिल रही खबर के मुताबिक नाबालिक गुरप्रीत को अगवा कर नागपुर ले जाया गया था। इधर छत्तीसगढ़ पुलिस भी हरकत में आ गई थी और जिस पर संदेह व्यक्त किया जा रहा था, उसने राजनांदगांव साइबर थाना में सरेंडर कर दिया था। अब खबर मिल रही है कि अपहरणकर्ताओं ने ढ़ाबा संचालक के बेटे गुरप्रीत को नागपुर में छोड़कर भाग खड़े हुए। गुरप्रीत दुर्ग वापस आने के लिए नागपुर बस स्टैंड पहुंचकर बस पर सवार हो चुका था। नागपुर बस स्टैंड पहुंचकर पुलिस ने तत्परतापूर्वक गुरप्रीत को अपने कब्जे में ले लिया। गुरप्रीत को सकुशल घर लाया जा रहा है।
विदित है कि दो दिन पहले देर शाम अज्ञात लोगों ने राजनांदगांव के उड़ता पंजाब ढ़ाबा के संचालक के नाबालिग बेटे को अगवा कर लिया। इसके बाद खबर मिली थी कि देर रात बेटे के बदले परिजनों से 50 लाख रुपए की फिरौती मांगी गई। इसकी सूचना पुलिस को जब दी गई, तो तत्काल हरकत में आई पुलिस ने प्रदेश के अन्य जिलों की पुलिस को भी सूचित कर दिया। इसके बाद भिलाई के ज्ञानेंद्र प्रताप सिंह उर्फ लल्लू पर संदेह की सुई अटक गई थी, लेकिन रविवार को उसने राजनांदगांव के साइबर सेल में खुद को सरेंडर कर दिया, जिसके बाद चिंता बढ़ गई थी। लेकिन पुलिस ने अंतर्राज्यीय पुलिस से संपर्क स्थापित कर मामले की गंभीरता से अवगत कराया।
अंततः आज सुबह नागपुर पुलिस ने राजनांदगांव पुलिस को सूचित किया कि नाबालिग गुरप्रीत उनके कब्जे में है और सुरक्षित है। अब उसे राजनांदगांव लाया जा रहा है। बहरहाल अब गुरप्रीत के परिजन उसके लौटने का इंतजार कर रहे हैं।