देश में कोरोना संक्रमण के विस्तार ने एक बार फिर झकझोर दिया है। देश के कई राज्य ऐसे हैं, जहां पर कोरोना ने एक बार फिर पैर पसारना शुरू कर दिया है और संक्रमण के आंकड़े लगातार बढ़ रहे हैं। इसके साथ ही कोरोना की वजह से मौतें भी तेजी से हो रही है, जो बेहद चिंता का विषय है। ऐसे में राज्य की सरकारों की जिम्मेदारी है, कि वे हालात पर काबू पाने के लिए क्या बेहतर इंतजाम कर सकते हैं। ना केवल दिल्ली, महाराष्ट्र और गुजरात, बल्कि मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़, ओडिशा में भी हालात बेकाबू होते जा रहे हैं।
देश के कुछ राज्यों में बढ़ते कोरोना के मामलों पर सुप्रीम कोर्ट ने संज्ञान लिया है। सोमवार को शीर्ष अदालत ने महाराष्ट्र, दिल्ली, गुजरात और असम से दो दिन में हलफनामा दायर कर यह बताने को कहा है कि कोरोना के मौजूदा हालात से निपटने के उन्होंने क्या उपाय किए हैं। सुप्रीम कोर्ट ने कोरोना के मामले बढ़ने के बावजूद शादी और समारोह करने की इजाजत किए जाने पर फटकार लगाई। कोर्ट ने कहा कि गुजरात में दिल्ली और महाराष्ट्र के बाद सबसे खराब हालात हैं। अब इस मामले में अगली सुनवाई शुक्रवार को होगी।
राजधानी दिल्ली में रविवार को 6746 लोग संक्रमित पाए गए। 6154 लोग ठीक हुए और 121 की मौत हो गई। मौत का यह आंकड़ा देश में सबसे ज्यादा रहा। इस मामले में 50 मौतों के साथ महाराष्ट्र दूसरे नंबर पर रहा। महाराष्ट्र में यह आंकड़ा 15 मई के बाद सबसे कम है। तब यहां 49 मौतें हुई थीं। दिल्ली में इससे पहले 18 नवंबर को सबसे ज्यादा 131 मरीजों की मौत हुई थी।
देश के अन्य राज्यों में कोरोना संक्रमण के बढ़ते मामलों को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने सभी राज्यों की सरकारों को सचेत रहने का निर्देश दिया है। साथ ही ताजा परिस्थितियों की लगातार तथ्यात्मक जानकारी उपलब्ध कराए जाने का भी निर्देश दिया है। बता दें कि देश के अन्य राज्यों की तरह मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ में भी हालात बिगड़ते जा रहे हैं, जिस पर सरकार की सतर्कता आवश्यक मानी जा रही है।