केंद्र सरकार के इस फैसले को लेकर देशभर के आधुनिक चिकित्सकों ने अपनी नाराजगी व्यक्त की है। सरकार के इस फैसले के खिलाफ अपना विरोध व्यक्त करने के लिए आइएमए ने विरोध प्रदर्शन का ऐलान किया है। सोमवार को बुलाई गई आइएमए की कार्यकारिणी बैठक में आइएमए के अध्यक्ष डॉ. मनोज अग्रवाल ने कहा कि इंडियन मेडिकल एसोसिएशन चाहता है कि हर विद्या स्वतंत्र रूप से अपना विकास करे। हालांकि किसी भी पैथी में महारत हासिल किए बिना मरीज की जिंदगी को दांव पर नहीं लगाया जा सकता। सरकार का यह फैसला अनुचित है, इसी क्रम में आइएमए आठ दिसम्बर को राष्ट्रव्यापी धरना करेगा।
Public demonstrations tomorrow will be followed by withdrawal of non-essential non-COVID services on Dec 11 from 6 am to 6 pm. All emergency services will continue to function. OPD services will not be available & elective surgeries will not be posted: Indian Medical Association https://t.co/biVFP4MAxM
— ANI (@ANI) December 7, 2020
इंडियन मेडिकल एसोसिएशन से मिली जानकारी के मुताबिक मंगलवार को आइएमए के सदस्य 20-20 के ग्रुप में धरना प्रदर्शन करेंगे। विरोध प्रदर्शन को तेज करते हुए 11 दिसंबर को सुबह 6 बजे से लेकर शाम 6 बजे तक आइएमए के सभी डॉक्टर्स अपनी नॉन कोविड और नॉन इमरजेंसी कार्यों का बहिष्कार करेंगे। हालांकि सार्वजनिक प्रदर्शन के दौरान आपातकालीन सेवाएं जारी रहेंगी और वैकल्पिक सर्जरी पोस्ट नहीं की जाएगी लेकिन ओपीडी सेवाओं को बंद रखा जाएगा। बता दें कि 8 दिसंबर को ही कृषि कानूनों के खिलाफ किसान संगठनों ने भारत बंद का आह्वान किया है।