उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बृहस्पतिवार को मकर संक्रांति के अवसर पर सूचना विभाग की डिजिटल डायरी और ऐप का लोकार्पण किया जिसके जरिये राज्य के जनप्रतिनिधियों, विभागों और अधिकारियों तक जन-जन की पहुंच और आसान हो सकेगी।
इस डायरी में राज्य के जनप्रतिनिधियों, विभागों और अधिकारियों के नाम, पते, पद और मोबाइल नंबर होंगे। इसके अलावा इसमें केंद्रीय मंत्रियों के बारे में भी जानकारी होगी। मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर डाक विभाग द्वारा तैयार खिचड़ी मेले के विशेष आवरण का भी अनावरण किया।
एक सरकारी बयान के अनुसार गोरखनाथ मन्दिर में आयोजित कार्यक्रम में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि आज जमाना तकनीक का है। उन्होंने कहा, ‘‘तकनीक के प्रयोग से हम हर क्षेत्र में व्यापक सुधार ला सकते हैं, अच्छी बात यह है कि हम भी जमाने के साथ बदल रहे हैं।’’
उन्होंने कहा, ‘‘सूचना विभाग ने डिजिटल डायरी-ऐप के जरिये एक अभिनव पहल की है, अब मोबाइल ही डायरी होगी। लोग नि:शुल्क इस ऐप को अपने मोबाइल में डाउनलोड करके राज्य के हर विभाग से संपर्क स्थापित कर सकेंगे।’’
मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि तकनीक के माध्यम से ही हम कोरोना संक्रमण के दौर में आमजन को बेहतरीन सेवाएं देने में सफल हो सके। उन्होंने कहा कि जनधन खातों में सहायता राशि, पेंशन, भरण पोषण भत्ता, छात्रवृत्ति आदि लोगों को घर बैठे मिल सकी।
अपर मुख्य सचिव (सूचना) नवनीत सहगल ने सूचना विभाग की डिजिटल डायरी-ऐप के बारे में जानकारी दी। उन्होंने बताया कि देश में सूचना विभाग की पहली बार इस तरह की डिजिटल डायरी बनी है। उन्होंने बताया कि कोई भी व्यक्ति अपने मोबाइल में प्लेस्टोर से यूपीआईडीआईएनएफओ ऐप को नि:शुल्क डाउनलोड कर सकता है। उन्होंने कहा कि अभी तक सूचना विभाग की डायरी सभी को नहीं मिल पाती थी लेकिन ऐप के रूप में इसकी पहुंच सभी तक हो जाएगी। उन्होंने कहा कि इसमें सभी जनप्रतिनिधियों, विभागों, अधिकारियों और मीडिया के लोगों के नाम, फोन नम्बर और ईमेल एड्रेस हैं। उन्होंने बताया कि ‘सर्च ऑप्शन’ में जाकर किसी के बारे में पता किया जा सकता है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने डाक विभाग के विशेष आवरण का भी अनावरण किया, खिचड़ी मेले पर विशेष आवरण ब्रह्मलीन महंत अवेद्यनाथ की स्मृति को समर्पित है। इसके पहले 2016 में डाक विभाग ने ब्रह्मलीन महंत अवेद्यनाथ की पहली पुण्यतिथि पर डाक टिकट जारी किया था। उसी को इस बार विशेष आवरण के रूप में जारी किया गया है।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने कहा, ‘‘डाक विभाग का यह प्रयास हमारी विरासत और परम्परा को आगे बढ़ाने में मददगार होगा, भविष्य की पीढ़ी अपने पूर्वजों के बारे में अवगत हो सकेगी।’’