रायपुर। राजधानी में संचालित निजी स्कूल दिल्ली पब्लिक स्कूल (डीपीएस) को भी शासन के आदेश के बाद 15 फरवरी से एक बार फिर संचालित किया जा रहा है। निर्देशानुसार कक्षा नवमीं से बारहवीं तक की कक्षाएं ही दो पालियों में लगाई जानी है, जिसका पालन प्रदेश के सभी स्कूलों में किया जा रहा है। हालांकि प्रदेश कोविड-19 से मुक्त नहीं हुआ है, लेकिन बड़ी कक्षाओं के बच्चों के भविष्य को ध्यान में रखते हुए सरकार को यह निर्णय लेना पड़ा है, जो अति आवश्यक भी है।
दो राय नहीं कि स्कूल खुलने के बाद प्रदेश के राजनांदगांव, सूरजपुर और अंबिकापुर के सैनिक स्कूल के बच्चों सहित स्टाफ और शिक्षकों के संक्रमित होने का दौरा भी जारी है। इस पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने स्पष्ट कर दिया है कि मामले बढ़ते दिखे, तो तत्काल स्कूलों को बंद करने का भी निर्णय लिया जा सकता है, लेकिन सुरक्षा इंतजामों के साथ स्कूलों को संचालित किया जाता है, तो परिस्थितियां अनुकुल होने की संभावनाएं हैं।
इस बीच राजधानी में संचालित दिल्ली पब्लिक स्कूल (डीपीएस) के 12 बच्चों के पाॅजिटिव होने की खबर वायरल होने लगी थी। जाहिर तौर पर इस खबर से पालकगण काफी ज्यादा घबरा गए थे और अपने बच्चों को लेकर ज्यादा चिंतित होने लगे थे।
इस मामले को लेकर डीपीएस प्रबंधन की नाराजगी सामने आई है। डीपीएस के प्राचार्य रघुनाथ मुखर्जी ने ऐसी खबरों को भ्रामक बताते हुए कहा कि उनके स्कूल में एक भी छात्र कोविड-19 की चपेट में नहीं आया है। उन्होंने कहा कि स्कूल में सभी बच्चों की सुरक्षा का पूरा ख्याल रखा जा रहा है। आवश्यक निर्देशों का पूरा पालन हो रहा ह। मुखर्जी ने कहा कि विद्यालय ऐसी झूठी, भ्रामक और तथ्यहीन खबरों की निंदा करता है। उक्त भ्रामक खबर पर उचित कार्यवाही करने हेतु पुलिस में शिकायत भी दर्ज करवा दी गई है।