रायपुर। प्रदेश की नर्सिंग छात्राओं ने ऑनलाइन परीक्षा की मांग की है। उन्होंने कहा है कि प्रदेश में कोरोना का खतरा तेजी से फ़ैल रहा है। इस स्थिति में भी हमें एग्जाम के लिए कॉलेज बुलाया जा रहा है। यहाँ पर सोशल डिस्टेंसिंग के नियमों की धज्जियाँ उड़ रही है। इससे हमारी स्वस्थ्य बिगड़ने का खतरा बढ़ गया है। छात्राओं का कहना है कि वे सभी बाहर से आती है। इस दौरान उन्हें बस में सफर करना पड़ता है और वे कई लोगों की संपर्क में आती है।
इधर, छात्राओं की मांग को लेकर राज्यसभा सांसद रामविचार नेताम ने भी मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के नाम पत्र लिख ऑनलाइन परीक्षा की मांग की है। नेताम में पत्र में कहा है कि पंडित दीनदयाल उपाध्याय स्मृति स्वास्थ्य विज्ञान एवं आयुष विश्वविद्यालय रायपुर द्वारा नर्सिंग की परीक्षा ऑफलाइन कराने हेतु समय सारणी जारी की गई है उनका कहना है कि इस वर्ष कोविड-19 के कारण छात्र-छात्राओं की पढ़ाई प्रभावित हुई है।
उनका कहना है कि नर्सिंग पाठ्यक्रम के विद्यार्थी अनेक गांवों एवं राज्यों से निवासरत है। उनके परीक्षा देने आने पर कोरोना संक्रमण का खतरा है। जिससे विद्यार्थी एवं उनके अभिभावक चिंतित हैं। तथा वर्तमान में अन्य राज्यों की तरह छत्तीसगढ़ में भी संक्रमण में वृद्धि देखने को मिल रही है। उनका कहना है कि विद्यार्थी पहले से ही छः माह पीछे चल रहे हैं ऑनलाइन परीक्षा आयोजित कर शैक्षणिक सत्र में समानता ला सकते हैं। इस तरह उन्होंने छात्र-छात्राओं की भावनाओं को समझते हुए मुख्यमंत्री भूपेश बघेल को नर्सिंग की ऑनलाइन परीक्षा आयोजित करने की सुझाव दिया है।
नर्सिंग के विद्यार्थी परीक्षा को लेकर काफी चिंतित हैं उनका कहना है कि हमारी पढ़ाई ऑनलाइन हुई है तो हमें परीक्षा भी ऑनलाइन देना है। कोरोना का संक्रमण इतना बढ़ रहा है और इस संक्रमण से कई छात्र-छात्राएं भी संक्रमित हो रहे हैं, जो कि काफी चिंताजनक विषय हैं। नर्सिंग छात्र छात्राओं का यह आरोप है की यूनिवर्सिटी हम सभी छात्र-छात्राओं की भविष्य की बिल्कुल भी चिंता नहीं करती। उनका कहना है कि समय सारणी इस तरीके से बनाया गया है कि एक भी दिन का अंतराल नहीं दिया गया है।