रायपुर। आज मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने प्रदेश के खेल संघ प्रतिनिधियों और अधिकारियों की एक महत्वपूर्ण बैठक अपने निवास में आहूत की थी। सीएम बघेल ने एक तरफ जहां प्रदेश में खेल के विकास को लेकर समीक्षा की, तो दूसरी तरफ प्रदेश में खेलों और खिलाड़ियों के लिए कई बड़ी सौगात दे डाली।
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि खेल सुविधाओं के लिए राज्य में पैसों की कमी कभी आड़े नहीं आएगी, बल्कि बढ़—चढ़कर खर्च किया जाएगा और खेलों और खिलाड़ियों को बेहतर तरीके से विकसित किया जाएगा।
मुख्यमंत्री के इस निर्णय को लेकर प्रदेश के खेल जगत में जोरदार उत्साह का माहौल निर्मित हो गया है। छग ओलंपिक संघ के महासचिव गुरुचरण सिंह होरा ने मीडिया से चर्चा में कहा कि प्रदेश में खेल संघ के प्रतिनिधियों ने सोचा भी नहीं था कि पूर्ववर्ती सरकार के कार्यकाल में जिस अभाव के साए में खेल चल रहा था, उसकी भरपाई इन ढ़ाई सालों में हो जाएगी।
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सीजीओए महासचिव होरा ने कहा कि प्रदेश में खेल संघों को ‘बिन मांगे मोती मिलें’ कहावत चरितार्थ हो गई है। होरा ने कहा कि खेल प्रतिनिधियों ने मुख्यमंत्री से किसी तरह की मांग नहीं रखी थी, ना ही ज्ञापन सौंपा था, उसके बावजूद उन्होंने खिलाड़ियों की भावना, उनकी सुविधाओं और खेल संघ की मंशाओं को महसूस करते हुए बड़ी सौगात दी है।
खेलों और सरकार में पाओ नौकरी
सीजीओए महासचिव ने बताया कि मुख्यमंत्री भूपेश बघेल से केवल इस बात की चर्चा की गई थी कि खिलाड़ियों के लिए नौकरी का प्रावधान होना चाहिए, इस पर आज मुख्यमंत्री ने गंभीरता से ध्यान दिया और तत्काल सभी विभागों में खिलाड़ियों के लिए द्वार खोल दिया।