अपनी विभिन्न मांगों को लेकर शासकीय वर्ग के तृतीय एवं चतुर्थ श्रेणी के कर्मचारियों ने सोमवार से हड़ताल शुरू कर दिया है।हड़ताल के चलते जहां समस्त विभागों के पठ बन्द रहे तो वहीं इसका सबसे बड़ा असर वेक्सिनेशन पर हुआ है।दरअसल वर्तमान के समय मे बढ़ते कोरोना के मामलों की रफ्तार धीमी हुई है।जिसका प्रमुख वजह वेक्सिनेशन को माना जा रहा है।कोरोना के लिए भी एकमात्र रामबाड़ उपचार विशेषज्ञों ने वेक्सिनेशन को ही कहा है।ऐसे में अपने स्वार्थ के लिए इस तरह वेक्सिनेशन केंद्रों को बंद करके हड़ताल करना कितना सही है।जानकारी मिली कि जिले भर में सतर्कता डोज के लिए 150 कोरोना वेक्सिनेशन केंद्रों का संचालन किया जा रहा था।लेकिन हड़ताल के चलते सोमवार के दिन 150 केंद्रों में केवल 30 खुले रहे।30 केंद्रों में शहरी केंद्र शामिल है जबकि 120 ग्रामीण अंचल के वेक्सिनेशन केंद्र बन्द रहे।हड़ताल के चलते केंद्र कबतक बन्द रहेंगे केंद्रों की वास्तु स्थिति क्या है इसका जानकारी लेने ग्रेंड न्यूज़ की टीम जिला मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी कार्यालय भी पहुंची।जहां देखा गया कि कार्यालय के अधिकांश चैम्बरों में ताला जड़ा रहा।और जो खुले रहे वहां से अधिकारी कर्मचारी भी नदारद रहे।ऐसे में जरूरत है स्वास्थ्य विभाग के उच्चाधिकारियों को इस ओर कुछ खास कदम उठाकर प्रभावित हो रहे वेक्सिनेशन केंद्रों का सुचारू रूप से संचालन कर सकें।