दिल्ली। दिल्ली में शराब की निजी दुकानें बंद होने लगी हैं। कहीं-कहीं दुकानें खुली भी हैं तो वे खाली पड़ी हैं। दरअसल, आज से पुरानी नीति के तहत शराब की बिक्री होने जा रही है।
इसे लेकर आबकारी विभाग की निगरानी में सरकार की तरफ से नियुक्त चार निगम तैयारियों में लगे हुए हैं। पहले सप्ताह में तीन सौ से अधिक दुकानें खोलने का लक्ष्य है,
जो माह के अंत तक बढ़कर पांच सौ तक हो जाएगी। ग्राहकों के लिहाज से देखें तो पुरानी नीति के तहत शराब बिक्री होने से उन्हें निर्धारित कीमतों पर शराब खरीदनी होगी।
यानी अब किसी तरह का डिस्काउंट नहीं मिलेगा। साथ ही सभी क्षेत्रों की दुकानों पर शराब की कीमतें ब्रांड के हिसाब से समान रहेंगी। अब शराब की सभी निजी दुकाने बंद हो जाएंगी।
ऐसे में निजी वेंडर उतनी ही शराब उठा रहे हैं, जितनी खपत एक दिन में होती है। गिने-चुने ब्रांड की शराब ही दुकानों में है। कई निजी दुकानों पर नोटिस चस्पा कर दिए गए हैं कि यह दुकान 31 अगस्त की रात को बंद हो जाएगी।
नई नीति में क्या था
● राजधानी के 272 वार्डों में 849 दुकानें खोली जानी थी, जिनमें से 600 से कम ही खुल पाईं। अभी 342 दुकानें संचालित हैं।
● नई नीति में सरकार ने खुद को शराब की बिक्री से अलग कर लिया था।
● निजी वेंडर को ग्राहकों को आकर्षित करने के लिए कीमतों में छूट और ऑफर देने का अधिकार दिया गया। ग्राहकों को एमआरपी से कम कीमत पर भी शराब बेची गई।
● नाइट कल्चर के तहत देर रात तक शराब बिक्री करने की व्यवस्था की गई, हालांकि इसे लागू नहीं किया जा सका।
● ग्राहकों को दुकान के अंदर जाकर पसंद की शराब खरीदने का अवसर दिया गया।
● सभी दुकान एयरकंडीशन बनाए गए और जिससे ग्राहकों को शराब खरीदते वक्त बेहतर अनुभव हो।