बलौदाबाजार : CG News : जिले के एक मासूम चिराग थस्वीन साहू ने खेलते समय मोबाइल की बैटरी निगल ली, ये उनके लिए कई बार जानलेवा साबित हो सकते है. बताया जाता है कि माता-पिता ने मासूम को खेलने के लिए बैटरी वाला मोबाइल दिया था, जिसमें तीन बैटरियां थी. इसमें से एक बैटरी मासूम ने निगल ली.
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परिजनों को इस बात का पता तब चला, जब मोबाइल की एक बैटरी गायब थी. वहीं परिवार के एक व्यक्ति ने मासूम को कुछ निगलते हुए देखा. पेट में बैटरी ने एसिड छोड़ना शुरू कर दिया था जिससे मासूम की आंतों को वो छेद करती लेकिन इससे पहले ही रायपुर के श्री बालाजी हॉस्पिटल के डॉक्टरों ने समय रहते ऑपरेशन कर बैटरी को बाहर निकाला और जिससे मासूम की जान बच गई.
श्री बालाजी हॉस्पिटल के पीडियाट्रिशियन सर्जन डॉ अनिल दुबे ने जानकारी दी कि बलौदाबाजार निवासी मासूम के परिजन बेटे थस्वीन साहू को अस्पताल लेकर पहुंचे थे. एक्स-रे के बाद पता चला कि मासूम के पेट में मोबाइल की छोटी बैटरी फंस गई है. यहां डॉक्टरों की टीम ने 24 घंटे का इंतेजार किया कि बैटरी मल के रास्ते से निकल गए. लेकिन ऐसा नहीं हुआ. पुनः डॉक्टरों ने एक और दिन इंतेजार किया. लेकिन जब बैटरी नहीं निकली तो डॉक्टरों ने उसे ऑपरेशन कर निकाला.
ये ऑपरेशन डॉ अनिल दुबे, पीडियाट्रिशियन डॉ निकिता पटेल, डॉ रश्मि और डॉ रीमा वाधवा (एनस्थिसिया) की संयुक्त टीम के निगरानी में किया गया. ऑपरेशन के दौरान पता चला कि मासूम को एक जन्मजात बीमारी थी जिसे मिकल्स डायवर्टीकुलम कहा जाता है. इसमें एक नली छोटी आत से जुड़ी होती है और वहीं जाकर बैटरी फंस गई थी. डॉक्टरों के मुताबिक समय रहते ऑपरेशन नहीं किया जाता तो संभव है कि बैटरी एसीड छोड़ती और आंतों को छेद करती. लेकिन ऑपरेशन के बाद 11 महीने के मासूम पूरी तरह स्वस्थ्य है और उसे मंगलवार को डिस्चार्ज कर दिया गया है.