रायपुर। CG NEWS : मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने नक्सलियों से लोहा लेते हुए शहादत को प्राप्त हुए शहीद विनोद चौबे और उनके साथ शहीद 28 पुलिसकर्मियों को उनके शहादत दिवस पर विनम्र श्रद्धांजलि दी।
मुख्यमंत्री बघेल ने ट्वीट कर कहा कि 12 जुलाई 2009 को राजनांदगाँव में मदनवाड़ा के जंगलों में नक्सलियों से लोहा लेते हुए जाबांज पुलिस अधीक्षक स्व. विनोद चौबे एवं उनकी टीम ने अपने प्राणों की परवाह न करते हुए छत्तीसगढ़ की माटी के लिए अपने प्राण तक न्यौछावर कर दिए थे। ऐसे भारत के महान सपूतों को हम सब नमन करते हैं, और अपनी पुष्पांजलि अर्पित करते हैं। हम सबको आप पर गर्व है। जय हिन्द।
विदित हो कि एसपी विनोद चौबे छत्तीसगढ़ के नक्सल ऑपरेशन में देश के पहले शहीद आईपीएस अधिकारी थे। मरणोपरांत उन्हें कीर्ति चक्र से सम्मानित किया गया। नक्सल हमले के दौरान मुठभेड़ में वो शहीद हुए थे। वह हमला देश का पहला नक्सली हमला था जिसमें कोई एसपी शहीद हुआ था। इस नक्सली हमले में एसपी के अलावा 29 जवान भी शहीद हुए थे।
नक्सलियों से मुठभेड़ के दौरान स्व.विनोद ध्रुव, उनि कोमल साहू, उनि धनेश साहू, प्रआर सुंदर लाल चौधरी, प्रआर दुष्यंत सिंह, आर प्रेमचंद पासवान, आर अरविंद शर्मा, प्रआर गीता भंडारी, प्रआर जखरियस खलखो, प्रआर संजय यादव, आरक्षक प्रकाश वर्मा, आर बेदुराम सूर्यवंशी, आर सुभाष कुमार बेहरा, आर टिकेश्वर देशमुख, आर सूर्यपाल वट्टी, आर अजय कुमार भारद्वाज, आर मनोज वर्मा, आर लोकेश छेदइया, आर श्यामलाल भोई,आर मिथलेश कुमार साहू, आर रजनीकांत, आर निकेश साहू, आर संतराम साहू, आर झाड़ूराम साहू, आर अमित नायक, आर वेदप्रकाश यादव, आर रितेश कुमार वैष्णव, आर लालबहादुर नाग शहीद हुए थे।
12 जुलाई 2009 को मदनवाड़ा में हुई थी नक्सली मुठभेड़
12 जुलाई को राजनांदगांव से करीब 100 किमी की दूरी पर स्थित मदनवाड़ा के जंगलों में नक्सलियों के द्वारा दो जवानों को गोली मार दिया गया था। जिसकी सूचना पर एसपी चौबे और उनकी टीम घटना स्थल की ओर रवाना हुई थी। तभी नक्सलियों ने उनके पहुंचने से पहले बारूदी सुरंग में ब्लास्ट कर दिया था। और गाडिय़ों के अनियंत्रित होने के बाद फायरिंग शुरू कर दी थी। इस घटना में एसपी विनोद चौबे और 29 जवान शहीद हो गए थे।