गरियाबंद।छत्तीसगढ़ प्रदेश के निजी विद्यालयों की समस्याओं को लेकर पिछले चार वर्षो से लगातार शासन प्रशासन से विभिन्न स्तरों पर बातचीत की जाती रही है परंतु आज पर्यंत तक कोई भी परिणाम नहीं निकला।अपनी मांगों को लेकर अब निजी विद्यालय संघ ने आंदोलन का मार्ग अपनाने का निर्णय लिया है।
गरियाबंद निजी विद्यालय कल्याण संघ के अध्यक्ष स्टेफड बंस ने बताया कि 3 सितंबर को प्रदेश के प्रमुख लोगों की बैठक रायपुर में आहूत की गई। जिसमें अपनी मांगों को लेकर चरणबद्ध आंदोलन की रूपरेखा तय की गई।इसी क्रम में सर्वप्रथम 5 सितंबर को शिक्षक दिवस के दिन विद्यालय बंद कर शिक्षक दिवस कार्यक्रम नही मनाने का निर्णय लिया गया।
उन्होंने कहा हम शिक्षकों को समय पर ना तो वेतन दे पा रहे हैं ना ही उन्हें उचित मानदेय दे पा रहे हैं तो कैसा सम्मान।पिछले चार वर्षो से आर टी ई की राशि रोक कर रखी गई है। पिछले 12 वर्षों से आरटीई की राशि में कोई वृद्धि नहीं की गई है।जबकि महंगाई कहां से कहां पहुंच गई है।
वही दूसरी ओर आरटीई में प्रवेश देने शासन का जबरदस्त दबाव रहता है।जब हमारे स्कूलों के 25 प्रतिशत छात्रों का पैसा स्कूलों को मिलेगा ही नहीं, तो स्कूल चलेगा कैसे।बार-बार स्कूलों की कमियां बताकर पैसा को रोक दिया जाता है । अब प्रदेश संगठन ने वृहद आंदोलन तय किया है ।5 सितंबर को स्कूल बंद रखकर शिक्षक दिवस ना मना कर काली पट्टी लगाकर प्रेस वार्ता कर अपना विषय प्रदेशवासियों के समक्ष रखेंगे। इस आंदोलन के परिपेक्ष्य में गरियाबंद जिले के भी सभी निजी विद्यालय इस आंदोलन में सम्मिलित होंगे।