छत्तीसगढ़ में भाजपा की नई सरकार के मुखिया और उसके मुख्यमंत्री समेत 13 मंत्रियों को लेकर जनता में उत्सुकता बढ़ गई है। राज्य में मुख्यमंत्री कौन होगा, इसे लेकर अभी संशय है क्योंकि भाजपा ने इस बार मुख्यमंत्री का चेहरा घोषित किए बिना ही चुनाव लड़ा था। ऐसे में भाजपा की इस जीत को लेकर प्रदेश भाजपा के अध्यक्ष अरुण साव को प्रबल दावेदार माना जा रहा है।
पूर्व मुख्यमंत्री डॉ रमन सिंह को भी भाजपा को नजरअंदाज करना मुश्किल होगा, क्योंकि भाजपा ने रमन सरकार के 15 वर्ष के कार्यकाल के विकास कार्यों को ही इस चुनाव में भी अपना विकास रूपी मुद्दा बनाया था। प्रदेश में आदिवासी चेहरा की भी मांग उठती रही है, ऐसे में सरगुजा संभाग से पूर्व केंद्रीय मंत्री व भाजपा के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष विष्णुदेव साय और महिला मुख्यमंत्री के रूप में बस्तर से भाजपा की राष्ट्रीय उपाध्यक्ष लता उसेंडी भी मुख्यमंत्री पद के लिए प्रबल दावेदार हैं।
केंद्रीय नेताओं द्वारा दिए गए बयानों को गौर करें तो ओपी चौधरी को लेकर चर्चा गर्म
मुख्यमंत्री के चेहरे को लेकर केंद्रीय नेताओं द्वारा दिए गए बयानों को गौर करें तो ओपी चौधरी को लेकर चर्चा गर्म शुरू हो जाती है। केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने बिलासपुर में कहा था कि इस बार गरीब मां का लाल मुख्यमंत्री बनेगा। भाजपा के प्रदेश प्रभारी ओम माथुर ने मीडिया से चर्चा में कल्पनाओं से विपरीत एक नया चेहरा आने की बात कही थी। गृह मंत्री अमित शाह ने भी रायगढ़ की सभा में पूर्व आइएएस ओपी चौधरी को बड़ा आदमी बनाने की बात कही थी।
इनमें से हो सकते हैं नई सरकार के मंत्री
नई सरकार के मंत्री के प्रबल दावेदारों में बृजमोहन अग्रवाल, रामविचार नेताम, अमर अग्रवाल, अजय चंद्राकर, केदार कश्यप, राजेश मूणत, विक्रम उसेंडी, भैयालाल राजवाड़े, पुन्नूलाल मोहिले, रेणुका सिंह, दयालदास बघेल, गोमती साय, विजय शर्मा का नाम शामिल है।