रायपुर। CG : बलौदाबाजार हिंसा मामले में गिरफ्तार भिलाई विधायक देवेंद्र यादव 3 दिनों की न्यायिक रिमांड पर है. इस बीच कांग्रेस को छोड़ बीजेपी का दामन थामने वाली नेत्री राधिका खेड़ा ने सोशल मीडिया पर एक वीडियो जारी कर विधायक देवेंद्र यादव पर उनकी गिरफ्तारी को लेकर कटाक्ष किया है, सिर्फ यही नहीं उन्होंने पूर्व सीएम भूपेश बघेल और नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी समेत पूरी कांग्रेस पार्टी पर आरोपों की बौछार कर दी.
बता दें कि राधिका खेड़ा ने यह वीडियो आज शाम सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर साझा किया है. राधिका ने कहा कांग्रेस को लेकर एक पुरानी कहावत सच होती दिख रही है कि हाथी के दो दांत होते हैं, एक दिखाने के लिए और दूसरा खाने के लिए. राहुल गांधी की ‘मोहब्बत की दुकान’ इसका सबसे बेहतरीन उदाहरण है. नाम भले ही मोहब्बत का हो, लेकिन असली मकसद अराजकता, हिंसा और नफरत फैलाना है. इस ‘दुकान’ का एक खास मोती, देवेंद्र यादव, अब रायपुर की सेंट्रल जेल की सलाखों के पीछे पहुंच चुका है.
राधिका खेड़ा ने कहा कि भिलाई से कांग्रेस विधायक देवेंद्र यादव 10 जून को बलौदा बाजार में हुई हिंसा के मुख्य आरोपी हैं. ये वही देवेंद्र हैं, जो राहुल गांधी के करीबी माने जाते हैं और भारतीय राष्ट्रीय युवा कांग्रेस के अध्यक्ष बनने की चर्चाएं भी हो रही थीं. भारत जोड़ो यात्रा के दौरान वह राहुल के साथ-साथ घूमते नजर आए थे. वैसे तो देवेंद्र यादव हर फन में माहिर हैं—चाहे कोयला घोटाले में पैसा कमाने की बात हो, महादेव ऐप में कट मनी की कमाई, या फिर हिंदू त्योहारों के दौरान हिंसा भड़काने की साजिश. उनकी यही चतुराई कांग्रेस में उन्हें सुपरहिट बनाती है.
राधिका ने देवेंद्र यादव और पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की करीबी पर निशाना साधते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के भी वो बेहद करीबी माने जाते हैं और उन्हें बघेल का दाहिना हाथ कहा जाता है. 10 जून को सतनामी समाज के खिलाफ हुई हिंसा में देवेंद्र को पुलिस ने कई बार नोटिस भेजा, लेकिन बघेल का ये गुंडा कानून से ऊपर समझता है खुद को, इसलिए कभी हाजिर नहीं हुआ. जब आखिरकार उसे गिरफ्तार किया गया, तो उसके समर्थकों ने जमकर हंगामा किया और पुलिस से भिड़ गए. सच तो ये है कि जहां कांग्रेस हारती है, वहां अराजकता और हिंसा फैलाने में देर नहीं लगाती. देवेंद्र यादव के जरिए राहुल गांधी और भूपेश बघेल छत्तीसगढ़ में ऐसा ही खेल खेलना चाहते थे, लेकिन भाजपा सरकार ने उनके मंसूबों पर पानी फेर दिया. कांग्रेस की यह कोशिश थी कि हिंसा और भय का माहौल बनाकर छत्तीसगढ़ को अस्थिरता की राह पर ले जाए, लेकिन भारतीय जनता पार्टी किसी भी कीमत पर इस साजिश को कामयाब नहीं होने देगी.