दुर्ग। CG NEWS : सेक्टर-6 स्थित एमजीएम स्कूल में चर्च के सौंदर्यीकरण को लेकर विवाद खड़ा हो गया है। आरोप है कि इस कार्य के लिए लगभग 1.5 करोड़ रुपये खर्च किए जा रहे हैं, जो कि छात्रों से ली गई फीस से निकाले गए हैं। इस मामले को लेकर अभिभावकों और स्थानीय नागरिकों में भारी आक्रोश देखने को मिल रहा है।
सूत्रों के अनुसार, स्कूल प्रशासन ने चर्च सौंदर्यीकरण के लिए 1.5 करोड़ रुपये आवंटित किए हैं, जो कि स्कूल के खाते से खर्च किए जा रहे हैं। यह पहली बार नहीं है जब संस्था पर धार्मिक संरचनाओं पर अत्यधिक खर्च करने का आरोप लगा हो। इससे पहले जामुल स्थित चर्च परिसर में पादरियों के लिए भवन निर्माण के नाम पर 2 करोड़ रुपये खर्च किए गए थे।
जांच के आदेश जारी
इस पूरे मामले को लेकर दुर्ग जिला शिक्षा अधिकारी अरविंद मिश्रा ने कहा कि उन्हें इस संबंध में शिकायत प्राप्त हुई है। उन्होंने बताया कि इस मुद्दे की जांच के लिए एक समिति गठित की गई है, जो स्कूल प्रशासन से जवाब तलब करेगी और संपूर्ण मामले की गहन जांच करेगी।
जिला शिक्षा अधिकारी अरविंद मिश्रा ने कहा, “हमें एमजीएम स्कूल में चर्च निर्माण और सौंदर्यीकरण से संबंधित शिकायत मिली है। छात्रों की फीस को इस उद्देश्य के लिए उपयोग करना नियमों के खिलाफ हो सकता है। जांच दल रिपोर्ट सौंपने के बाद आगे की कार्रवाई तय करेगा। यदि आरोप सही पाए गए, तो स्कूल प्रशासन के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी।”
उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि निजी स्कूलों को छात्रों से ली गई फीस का उपयोग केवल शैक्षणिक विकास और छात्र सुविधाओं के लिए करना चाहिए। धार्मिक उद्देश्यों के लिए इस राशि का उपयोग करना अनैतिक और अवैध हो सकता है।
अभिभावकों की नाराजगी
इस मामले को लेकर अभिभावकों में नाराजगी बढ़ती जा रही है। उनका कहना है कि स्कूल प्रशासन को छात्रों की शिक्षा और सुविधाओं की अनदेखी कर धार्मिक संरचनाओं पर इतनी बड़ी धनराशि खर्च करने का कोई अधिकार नहीं है।