मउगंज। CG NEWS : मध्यप्रदेश के नवगठित जिला मउगंज में एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है, जहां हजारों वर्ष पुराने शिव मंदिर की भूमि पर वक्फ बोर्ड द्वारा अवैध कब्जे का आरोप लगाया गया है। यह भूमि, जिसे स्थानीय हिंदू समुदाय धार्मिक अनुष्ठानों और मेले के लिए उपयोग करता था, कथित रूप से जाली दस्तावेजों के आधार पर वक्फ बोर्ड के नाम दर्ज कर दी गई। ग्राम पंचायत खजुरहन तहसील हनुमना में स्थित शिव मंदिर के प्रांगण में माता पार्वती का मंदिर भी स्थित है। हाल ही में प्राण प्रतिष्ठा के दौरान स्थानीय निवासियों ने पाया कि मंदिर की भूमि के पास मुस्लिम समुदाय के लोगों ने कब्रें दफना दी हैं और रास्ते में मकबरा बना दिया है।
जब यह विवाद सामने आया, तो पंचायतवासियों ने मउगंज कलेक्टर कार्यालय के समक्ष अनिश्चितकालीन धरना शुरू कर दिया और प्रशासन से अतिक्रमण हटाने की मांग की। इस मुद्दे को लेकर मुख्यमंत्री को ज्ञापन भी सौंपा गया है।
ज्ञापन के मुख्य बिंदु :
1. 1888 से मंदिर की भूमि भानुप्रताप मिश्रा व अन्य के नाम पर दर्ज थी, और यह भूमि सदियों से धार्मिक उपयोग में थी।
2. 1925 से पहले खजुरहन गांव में मुस्लिम आबादी शून्य थी, लेकिन बाद में गांव की सुरक्षा के लिए तीन मुस्लिम परिवारों को बसाया गया था।
3. 1989 में हिंदू समुदाय को श्मशान भूमि में अंतिम संस्कार से रोक दिया गया, जिसके बाद पुलिस में रिपोर्ट दर्ज करवाई गई थी।
4. इसके बाद 25 अगस्त 1989 को जाली दस्तावेज तैयार कर 0.501 हेक्टेयर भूमि को वक्फ बोर्ड के नाम कर दिया गया।
5. 1996 में प्रशासन द्वारा मंदिर की भूमि को कब्रिस्तान, मंदिर और रास्ते के रूप में विभाजित करने का आदेश दिया गया, जो स्थानीय निवासियों के अनुसार जाली दस्तावेजों पर आधारित था।
6. मुस्लिम समुदाय को ताजिया चौक और मस्जिद के लिए पर्याप्त भूमि दी गई थी, लेकिन मंदिर के लिए मात्र 15 डेसिमल भूमि दी गई।
7. मंदिर की भूमि को वक्फ बोर्ड में अंकित करने वाले अधिकारियों के खिलाफ जांच और कानूनी कार्यवाही की मांग की गई है।
पंचायतवासियों की मांग
पंचायतवासियों का कहना है कि मंदिर की भूमि पर अवैध रूप से कब्जा कर उसे वक्फ बोर्ड के नाम पर किया गया, जिससे हिंदू समुदाय में भारी आक्रोश है।
उन्होंने प्रशासन से माँग की है कि:
– जाँच कमेटी गठित कर मंदिर की भूमि को वक्फ बोर्ड से मुक्त किया जाए।
– अवैध कब्जे को हटाकर मंदिर की भूमि हिंदू समाज को वापस दी जाए।
– इस प्रकरण में शामिल अधिकारियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए।
केंद्र सरकार का प्रस्तावित विधेयक
यह विवाद ऐसे समय में सामने आया है जब केंद्र सरकार वक्फ बोर्ड की असीमित शक्तियों पर नियंत्रण के लिए संसद में एक विधेयक लाने की तैयारी कर रही है। इस विधेयक में महिलाओं की भागीदारी को बढ़ाने और किसी भी भूमि को जबरन वक्फ संपत्ति घोषित करने की शक्ति को समाप्त करने का प्रावधान शामिल है। हालाँकि, मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ने इस प्रस्ताव का विरोध किया है।
स्थानीय स्थिति और संभावित अनहोनी की चेतावनी
धरने पर बैठे सैकड़ों सनातनी हिंदू समाज के लोग मंदिर की भूमि पर अवैध कब्जा हटाने की माँग कर रहे हैं। उन्होंने प्रशासन को चेतावनी दी है कि यदि समय रहते उचित कदम नहीं उठाए गए, तो स्थिति और अधिक बिगड़ सकती है।