बिलासपुर। CG : जिले के मल्हार और रिस्दा धान खरीदी केंद्रों में 1100 मीट्रिक टन धान की कमी सामने आने के बाद बड़ा घोटाला उजागर हुआ है। शॉर्टेज के नाम पर की गई इस हेराफेरी से शासन को करीब 2.5 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है। जांच के बाद खरीदी केंद्रों के प्रभारियों पर एफआईआर दर्ज कर ली गई है और उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई शुरू कर दी गई है। जिला प्रशासन ने मामले को गंभीर मानते हुए दोषियों पर सख्त कार्रवाई का भरोसा दिलाया है.
धान खरीदी के दौरान मल्हार और रिस्दा केंद्रों में 1100 मीट्रिक टन धान का कोई रिकॉर्ड नहीं पाया गया। खरीदी के आंकड़ों में गड़बड़ी पाई गई और शॉर्टेज दिखाकर धान खरीदी की राशि का दुरुपयोग किया गया। शुरुआती जांच में यह बात सामने आई कि यह घोटाला केंद्रों के प्रभारियों और कुछ कर्मचारियों की मिलीभगत से अंजाम दिया गया.
जांच रिपोर्ट के आधार पर दोनों केंद्रों के प्रभारियों के खिलाफ FIR दर्ज की गई है। प्रशासन ने वसूली की प्रक्रिया शुरू कर दी है और आर्थिक नुकसान की भरपाई के लिए सख्त कदम उठाए जा रहे हैं। इस घोटाले के बाद धान खरीदी केंद्रों की कार्यप्रणाली और निगरानी व्यवस्था पर सवाल खड़े हो गए हैं। प्रशासन ने आगे ऐसे मामलों को रोकने के लिए अतिरिक्त निगरानी और पारदर्शिता बढ़ाने का आश्वासन दिया है.