कोरोना संक्रमण के रोकने के लिए छत्तीसगढ़ सरकार तमाम जद्दोजहद कर रही है। दूसरे राज्यों से आने वालों के लिए कोविड-19 की निगेटिव रिपोर्ट तक अनिवार्य है। ऐसे में जशपुर के एक थानेदार और कोटवार महज 200 रुपए में संक्रमण बांट रहे थे। बॉर्डर पार करने के दौरान अगर कोई कोरोना टेस्ट नहीं कराना चाहता है तो वह रुपए देकर जा सकता था। फिलहाल थानेदार को सस्पेंड और कोटवार को हटा दिया गया है।
दरअसल, लॉकडाउन के साथ ही जिले के बाहर से आने वाले लोगों की कोविड जांच करना अनिवार्य किया गया है। अगर वे 96 घंटे की टेस्ट रिपोर्ट लेकर नहीं आते तो बॉर्डर पर जांच की जाती है। इसके लिए पुलिस और कर्मचारियों की ड्यूटी लगाई गई है। ऐसे ही जशपुर जिले के लोदाम बैरियर पर SI (सब इंस्पेक्टर) रामेश्वर शुक्ला की ड्यूटी लगाई गई थी। इसी दौरान शनिवार को झारखंड से एक युवक अपनी पत्नी के साथ बॉर्डर पर पहुंचा तो पुलिस ने उसे रोक लिया।
तो कोटवार के पास भेजा
युवक के पास कोरोना टेस्ट की रिपोर्ट नहीं थी तो पुलिसकर्मियों ने उससे जांच कराने के लिए कहा गया। इस पर युवक ने मना कर दिया और रुपए देने की पेशकश करने लगा। इस पर ड्यूटी पर तैनात पुलिस अफसर ने उसे वहीं कोटवार के पास भेज दिया। युवक की पत्नी ने कोटवार के पास जाकर उसे 200 रुपए दे दिए। इस दौरान पूरे मामले का किसी ने वीडियो बना लिया और उसे सोशल मीडिया पर वायरल कर दिया।
SSP ने कहा- भूमिका संदिग्ध
इस वीडियो के सामने आने के बाद कलेक्टर महादेव कावरे ने कोटवार को बैरियर ड्यूटी से हटा दिया । वहीं SSP बालाजी राव ने SI रामेश्वर शुक्ला को सस्पेंड कर दिया। उन्हें लाइन अटैच किया गया है। मामले की जांच रक्षित निरीक्षक को सौंपी गई है। SSP राव ने कहा, वीडियो में कोटवार को एक युवक रुपए देते दिखाई दे रहा है। वहीं पर SI भी खड़े हैं। जिससे उनका आचारण संदिग्ध प्रतीत हो रहा है। इसलिए उनके खिलाफ कार्रवाई की गई है।