रायपुर। छग की राजधानी में अंतराष्ट्रीय स्तर के स्टेडियम बनाए गए हैं, राजधानी के भीतर इंडोर और आउटडोर स्टेडियम की भी सुविधा है, लेकिन इन स्टेडियम से खेल और खिलाड़ी पूरी तरह दूर हैं। कभी इन स्टेडियम का उपयोग बड़े नेताओं की सभाओं के किया गया, तो संक्रमण काल में सब्जी मंडी तक यहां लग गई। अब स्वास्थ्य विभाग इसका उपयोग अस्पताल की तरह करने वाला है। हालांकि यह एक मजबूरी है, क्योंकि प्रदेश की राजधानी के सभी अस्पतालों में मरीजों के मुकाबले बिस्तरों की संख्या कम पड़ने लगी है।
उल्लेखनीय है कि छत्तीसगढ़ में कोरोना संक्रमण के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं। बीते सप्ताह भर के भीतर संख्या दोगुनी हो चुकी है और इस समय प्रदेश में कुल एक्टिव मरीजों की संख्या 858 हो चुकी है। स्वास्थ्य सचिव निहारिका बारिक सिंह भी इस बात को स्वीकार करती हैं। उन्होंने राज्यपाल अनुसुईया उईके को बताया कि प्रदेश में स्थिति चिंताजनक हो गई है। इसे देखते हुए रायपुर स्थित इंडोर स्टेडियम में 150 और सुभाष स्टेडियम में 70 बेड का अस्पताल बना रहे हैं। ऐसे ही अस्पताल अन्य जिलों में भी तैयार किए जाएंगे।
राज्यपाल उईके ने क्वारैंटाइन सेंटर और कोरोना संक्रमण से हुई मौत के लिए संबंधित परिवार को मुआवजा देने का सुझाव दिया। कहा, सरकार को इस पर नीतिगत निर्णय लेना चाहिए। उन्होंने कहा कि प्रवासी मजदूरों को उनके कौशल के आधार पर बैंकों से बिना गारंटी का कर्ज देना चाहिए। राज्यपाल ने आश्वस्त किया कि कोरोना से बचाव के लिए केंद्र सरकार से किसी भी प्रकार की मदद की अपेक्षा है तो उन्हें बताएं, वे अपने स्तर पर पहल करेंगी।