लखनऊ। युवतियों को भरोसा दिलाकर उसके साथ दुराचार के अनगिनत मामले देश में हैं, ऐसे क्रुर अत्याचारियों के खिलाफ सख्त रवैया भी अपनाया गया है, उसके बावजूद भी अत्याचार पर लगाम नहीं लग पाया है। ताजा मामला उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ से सामने आया है, जहां पर एक युवती को 6 साल तक एक बदमाश ने बॉथरूम में कैद रखा, उसे कई बार अपनी हवस का शिकार बनाया।
हालांकि पुलिस ने पिछले छह साल से बंदी और दुष्कर्म की शिकार 22 वर्षीय युवती को रिहा करा लिया है। लेकिन इतने सालों में उसने जिस हैवानियत को झेला है, उसके बाद उसकी मानसिक स्थिति सामान्य नहीं हो पा रही है। बताया जा रहा है कि मध्य प्रदेश की रहने वाली महिला का दो साल का बच्चा है। पुलिस को शक है कि आरोपी मनीष प्रताप ने और लड़कियों को बंदी बनाया है।
ऐसे हुआ खुलासा
पश्चिम क्षेत्र के पुलिस उपायुक्त (डीसीपी), सोमेन बरमा ने कहा कि फर्जी मार्कशीट गिरोह चलाने के आरोप में 11 फरवरी को मनीष को अमीनाबाद पुलिस द्वारा गिरफ्तार किए जाने के बाद विवरण सामने आना शुरू हो गया था। अधिकारी ने कहा कि उसकी गिरफ्तारी के बाद पुलिस को 22 वर्षीय महिला का पता चला।
बहलाकर झांसे में लिया
एक महिला राजपत्रित अधिकारी को उस लड़की से बात करने के लिए कहा गया है, जिसने मनीष द्वारा बंदी बनाए जाने के दौरान आतंक, दर्द और पीड़ा के बारे में बताया।
“लड़की ने आरोप लगाया कि मनीष उसे अच्छी शिक्षा देने के बहाने मध्य प्रदेश में उसके घर से ले गया था। उसके बाद से वह उसके पास कैद थी और यातनाएं सह रही थी।
कैमरे के सामने बलात्कार
सामने आई जानकारी के मुताबिक 2015 में, उसे लखनऊ लाया गया और प्रताड़ित किया गया। युवती ने बताया कि उसके साथ कई बार रेप हुआ है। लड़की को ब्लैकमेल करने के लिए वॉशरूम में एक सीसीटीवी कैमरा भी लगाया गया था, जिसके सामने उसे दुराचार होता था और धमकी दी जाती थी।
बमुश्किल बोल पाई युवती
डीसीपी ने बताया कि युवती बॉथरूम में कैद रहकर बुरी तरह से घबराई हुई थी, उसके दिल—दिमाग में आरोपी ने ऐसा डर बिठा दिया था कि वह मनीष के खिलाफ बोलने की हिम्मत तभी जुटा पाई, जब उसे यकीन हो गया कि मनीष को गिरफ्तार कर लिया गया है और वह अब उसे कोई नुकसान नहीं पहुंचा सकता।
दर्ज हो चुका है अपराध
डीसीपी ने कहा कि हम लड़की के परिवार के संपर्क में हैं। उसके बयान एक मजिस्ट्रेट के सामने दर्ज किए जाएंगे। उन्होंने कहा कि उसने पुलिस को यह भी बताया था कि बदमाश ने उसके जैसी कई लड़कियों का शोषण किया है। मनीष के खिलाफ दुष्कर्म और यौन अपराधों से बच्चों का संरक्षण अधिनियम, 2012 के तहत प्राथमिकी दर्ज की गई है।