बिलासपुर। कुछ दिनों पहले भी सूदखोर की प्रताड़ना से तंग आकर एक व्यापारी ने खुदकुशी कर ली थी। इस बार सोन गंगा कॉलोनी सरकंडा में रहने वाले सुमित शर्मा ने फांसी लगाकर जान दे दी।
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बताया जा रहा है कि बिलासपुर में उनका परिवार उनके पिता की नौकरी के चलते शिफ्ट हो गया था। उनके पिता 69 वर्षीय लल्लन शर्मा जांजगीर जिले के अकलतरा में स्थित सीसीआई सीमेंट फैक्ट्री में कार्यरत थे। रिटायरमेंट( retirement) के बाद सरकंडा थाना क्षेत्र में स्थित रामा ग्रीन सिटी में मकान खरीद कर बस गए थे। उनका बड़ा बेटा अमित शर्मा बेंगलुरु ( bengaluru)में प्राइवेट कंपनी ( private company)में जॉब करता है। छोटा बेटा सुमित बुक डिपो चलाता था। सुमित की शादी 2015 में हुई थी।
लॉकडाउन( lockdown) के चलते दुकान बंद, प्राइवेट जॉब( private) भी छोड़ दी
सुमित रोज बेटी को स्कूल छोड़ने व लेने जाता था। करोना कॉल में सुमित पुस्तक दुकान बंद हो गई थी। लॉकडाउन खुलने पर दुकान खोला तो ग्राहकी पहले से काफी कमजोर हो गई थी। उसे प्रतिमाह दुकान का किराया देना पड़ता था, उस हिसाब से उसे किराया भी नहीं मिलता था। जिसके चलते उसने दुकान बंद कर दी थी और प्राइवेट नौकरी करने लगा था। कुछ दिन प्राइवेट जॉब करने के बाद उसने वह भी छोड़ दी थी। इसके बाद वह घर पर ही रहता था।ग्रीन सिटी में रहने वाले कृष्णा राठौर से अपने व्यवसाय के दौरान रकम ब्याज पर उधार ली थी।
वीडियो ( video)में कृष्णा राठौर को बताया बर्बादी का कारण
सुमित की पत्नी ने जब होश सम्हाला तो उसे अपने मोबाइल पर पति के द्वारा भेजा गया एक वीडियो मिला। जिसमे उसके पति सुमित ने बताया है कि उसकी बर्बादी का कारण रामा ग्रीन( green city) सिटी के लास्ट तरफ के मकान का रहने वाला कृष्णा राठौर है। उसकी रकम पूरी चुकाने के बाद भी वह तीन लाख रुपये मांग रहा है, नही तो गाड़ी अपने नाम करने को कह रहा है। मैं तुमसे झूठ बोलता हूं कि गाड़ी सर्विसिंग( servicing) में गई है, जबकि गाड़ी उसी के पास है। सुमित ने वीडियो ( video)में आगे कहा है कि मेरी मौत के बाद उसको फांसी लगवाना । और मम्मी, पापा, बाबू का ख्याल रखना। मैं जानता हूं कि तुम बहुत मजबूत हो। मैं तुम्हारी लाइफ में आया मुझे बहुत अच्छा लगा पर हमारा साथ यही तक था।