केंद्रीय पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री भूपेंद्र यादव साफ कर चुके हैं कि कूनो से चीते कहीं नहीं भेजे जाएंगे, तो प्रदेश के वनमंत्री विजय शाह का बयान सामने आया कि कुछ चीते जल्द शिफ्ट किए जाएंगे। इन बयानों के बीच अब प्रदेश के मुख्य वन्यप्राणी अभिरक्षक असीम श्रीवास्तव ने स्थिति साफ कर दी है। उनका कहना है कि कूनो से चीतों को कहीं और नहीं भेजा जाएगा। गांधीसागर अभयारण्य तैयार किया जा रहा है, पर नए चीतों के लिए।
अफ्रीकी देशों से और आएंगे चीते
श्रीवास्तव कहते हैं कि अफ्रीकी देशों से अभी और चीते लाए जाने हैं। अब जो नए चीते आएंगे, उन्हें सीधे गांधीसागर अभयारण्य में ही उतारे जाने की संभावना है। इन चीतों के लिए अभयारण्य दिसंबर अंत तक तैयार हो जाएगा।
शिफ्टिंग की कोई योजना नहीं
दरअसल इस साल मार्च से केएनपी में तीन शावकों सहित नौ चीतों की मौत हो चुकी है. केएनपी से चीतों की शिफ्टिंग से जुड़े एक सवाल का जवाब देते हुए यादव ने कहा, ‘इसके लिए कोई योजना नहीं चल रही है… स्वाभाविक रूप से, संक्रमण मेन वजह रही. मानसून के कारण कीड़ों द्वारा संक्रमण का मामला भी हमारे संज्ञान में आया है. संक्रमण के कारण हमने दो चीतों को खो दिया है. हमने दक्षिण अफ्रीका, नामीबिया के विशेषज्ञों के साथ भी जानकारी साझा की है और हम इसके प्रबंधन पर आगे बढ़ रहे हैं.