आजकल कई युवा पर्यावरण संरक्षण के लिए आगे आ रहे हैं. आपने भी पर्यावरण सुरक्षा को लेकर कई साइकिल और वाहन रैली देखी होगी. मगर आमतौर पर पर्यावरण बचाने को लेकर हर व्यक्ति साइकिल पर अकेले यात्रा करता है या फिर एक समूह के साथ यात्रा करता है. लेकिन ऐसा पहली बार देखने को मिला है जहां पर पर्यावरण संरक्षण को लेकर साइकिल चलाओ-पर्यावरण बचाओ का महत्वपूर्ण संदेश लेकर 18 अक्टूबर को गरियाबंद पहुँचे ग्रैंड न्यूज़ की टीम से बात करते हुए कन्याकुमारी के न्नभन कुमार उम्र 22 वर्ष ने बतलाया वे कन्याकुमारी भारत से 11 देश इंडिया, भूटान, नेपाल, वियतनाम, थाईलैंड, सिंगापुर, कंबोडिया, चाइना, साउथ कोरिया के साथ अन्य देशों की यात्रा पर सायकल से निकले हैं ।दरसल इनका उद्देश्य वायुमंडल में जो कार्बन बढ़ रहा है जिसके चलते प्रदूषण खतरे के निशान के उपर पहुंच रहा है।इससे आने वाले कल में लोगों को सांस लेने में तकलीफ होगी ,वहीं भारत के विभिन्न समुद्र किनारो पर बसे मुंबई, चेन्नई, त्रिवेंद्रम, कन्याकुमारी व अन्य शहर 2070 तक आधे शहर समुद्र मे डूब जाएंगे
11 देश के सफर करने निकले न्नाभन कुमार का अनुमान है ये 72 हजार किलोमीटर का सफर 3 साल 6 माह में पूरा कर लेंगे। प्रदूषण से चिंतित न्नाभन कुमार डीजल पेट्रोल से चलने वाले वाहनों को छोड़कर साइकिल से यात्रा करने के लिए प्रेरित करने हेतु निकले हैं ।वे रास्तो के विभिन्न शहरों के कॉलेज और स्कूलों में इस पर व्याख्यान देते हुए वे गरियाबंद पहुंचे है। वे कहते हैं इसका सारा खर्च वह स्वयं बहन करते हैं रास्ते में कोई मदद कर दे या खाना खिला दे तो यह अलग बात होती है।वैसे तो नाभन कुमार कन्याकुमारी से कश्मीर तक एक साल पूर्व भी साइकलिंग कर चुके हैं। उन्होंने 167 दिनों में 5500 किलोमीटर का दौरा कर सफलतापूर्वक तय किया था ।