गरियाबंद। गरियाबंद जिले के मैनपुर विकासखंड में एक विवाह ऐसा हुआ है, जिसे लेकर पूरे इलाके में चर्चा का दौर जारी है। जीवन के अंतिम पड़ाव में प्यार को अंजाम नसीब हो गया है। अक्षय तृतीया के शुभ अवसर पर गांव वालों ने मिलकर दो बुजुर्ग प्रेमियों को जीवनभर के लिए विवाह के बंधन में बांधने का काम किया है।
यह कोई कहानी का हिस्सा नहीं बल्कि गरियाबंद जिले के मैनपुर की एक ऐसी हकीकत है, जिसके साक्षी पूरे गांव वाले हैं, जिन्होंने घराती और बराती दोनों की भूमिका का निर्वहन किया है। गरियाबंद जिले के आदिवासी विकासखंड मैनपुर में एक ऐसी अनोखी शादी पूरे क्षेत्र मे चर्चा पर है जहां आज अक्षय तृतीया के अवसर पर ग्राम जाड़ापदर में एक बुजुर्ग जोड़ा शादी के बंधन में बंध गए। ग्राम जाड़ापदर के फरस राम नेताम उम्र 70 वर्ष और तिलका बाई नेताम उम्र 65 वर्ष ने जवानी में शादी नहीं की। दोनांे एक दुसरे को पंसद करते रहे, आपस में प्यार हो गया, लेकिन बात शादी तक नहीं पहुंच पाई।
अब जबकि दोनों जीवन के अंतिम पड़ाव में पहुंच चुके हैं, उनके प्यार को अंजाम देने में सरपंच हरचंद धु्रव, उपसरपंच हीरालाल धु्रव सहित ग्रामीणों ने आपसी सहयोग से दोनो बुजुर्गो को जीवनभर के लिए एक कर दिया। अक्षय तृतीया के अवसर पर उनकी शादी का आयोजन किया गया, जिसमें दोनो के परिवार वाले और कुछ ग्रामीण शामिल हुए। लाॅक डाउन के बीच पूरे रीति रिवाजो से दोनों की शादी का आयोजन किया गया।
एक विवाह ऐसा भी: बुजुर्ग प्रेमियों को गांव वालों ने मिलकर बांधा वैवाहिक बंधन में…. अक्षय तृतीया पर 70 वर्षीय बुजुर्ग के सिर बंधा सेहरा
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