Sweet Corn Farming: स्वीट कॉर्न एक लोकप्रिय फसल है जिसे अब भारत में भी बड़ी मात्रा में उगाया जा रहा है। इसकी मिठास और पौष्टिकता के कारण यह बाजार में बहुत पसंद की जाती है। आज हम आपको बताने जा रहे हैं कि स्वीट कॉर्न की खेती कैसे करें।
खेत की तैयारी
स्वीट कॉर्न की खेती के लिए सबसे पहले खेत की अच्छी तरह से जुताई करें। खेत को समतल और खरपतवार मुक्त रखें। उचित जल निकासी की व्यवस्था करें ताकि पानी खेत में न रुके।
बीज की बुआई
स्वीट कॉर्न के बीजों को सीधे खेत में बोया जा सकता है। बुआई के लिए फरवरी से मार्च का समय सबसे उपयुक्त है। बीजों को 2-3 इंच की गहराई में और 1-1.5 फीट की दूरी पर लगाएं। बुआई के बाद हल्की सिंचाई करें।
खाद और उर्वरक
स्वीट कॉर्न को अच्छी उपज देने के लिए पर्याप्त मात्रा में जैविक खाद और उर्वरक की जरूरत होती है। बुआई के समय 2-3 क्विंटल गोबर की खाद प्रति एकड़ डालें। इसके अलावा, नाइट्रोजन, फास्फोरस और पोटाश की उचित मात्रा का उपयोग करें।
सिंचाई का तरीका
स्वीट कॉर्न को नियमित सिंचाई की जरूरत होती है। गर्मी के मौसम में हर 7-10 दिनों में सिंचाई करें। पौधों की वृद्धि के समय और दानों के भरने के समय विशेष ध्यान दें।
खरपतवार नियंत्रण
खरपतवारों से बचाव के लिए समय-समय पर निराई-गुड़ाई करते रहें। रसायनिक उपायों का भी प्रयोग किया जा सकता है, लेकिन जैविक तरीकों को प्राथमिकता दें।
कीट और रोग होने से बचाव के उपाय
स्वीट कॉर्न पर लगने वाले कीट और रोगों से बचाव के लिए जैविक कीटनाशकों का उपयोग करें। समय-समय पर फसलों की जांच करें और उचित उपचार करें।
इस तरह करें फसल की कटाई
स्वीट कॉर्न की फसल लगभग 75-90 दिनों में तैयार हो जाती है। जब दाने पूरी तरह से भर जाएं और उनके छिलके में नमी हो, तब फसल की कटाई करें। कटाई के बाद भंडारण का विशेष ध्यान रखें।
स्वीट कॉर्न की खेती सही तकनीकों के साथ करने पर अच्छी आय का स्रोत बन सकती है। बस ध्यान रखें कि समय पर बुआई, सिंचाई और उचित खाद एवं उर्वरक का प्रयोग करें। सही देखभाल और मेहनत से आप अच्छी उपज प्राप्त कर सकते हैं।