देश के अलग-अलग राज्यों के पंचायती राज संस्थाओं की अनुसूचित जनजाति की महिला प्रतिनिधियों ने राष्ट्रीय महिला आयोग के द्वारा आयोजित कार्यक्रम पंचायत से पार्लियामेंट 2.0 में शामिल हुई।
इसी कड़ी में जिला मुख्यालय गरियाबंद कि जनपद अध्यक्ष लालिमा ठाकुर भी उक्त कार्यक्रम में शामिल हुई। श्रीमती लालिमा ठाकुर ने कहा की राष्ट्रीय महिला आयोग भारत सरकार का एक वैधानिक निकाय है, जिसका उद्देश्य महिलाओं के अधिकारों की रक्षा करना, उनके कल्याण के लिए कार्य करना और समाज में उनके योगदान को बढ़ावा देना है। प्रथम सत्र दिनांक 6/1/2025 को आयोजित कार्यक्रम संसद भवन के सेंट्रल हाल में मुख्य रूप से लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला जी, अनुसूचित जनजाति मंत्री जुएल उरांव जी, एवं राष्ट्रीय महिला आयोग की अध्यक्ष विजया रहाटकर जी ने उपस्थित होकर बताया कि संविधान निर्माण में बाबा साहब डॉ भीमराव अंबेडकर जी के साथ जिन विभूतियों ने योगदान दिया उनमें 15 महिला सदस्यों का विशेष रूप से उल्लेख किया गया वहां बताया गया की इन महिलाओं ने भारतीय समाज में सामान न्याय, और सामाजिक सुधारो की नींव रखी और संविधान को समावेशी और प्रगतिशील बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। श्रीमती लालिमा ठाकुर ने कार्यक्रम की अनुभव साझा करते हुए बताया कि द्वितीय सोपान के कार्यक्रम आजाद भारत की प्रथम आदिवासी राष्ट्रपति महामहिम द्रौपदी मुर्मू के राष्ट्रपति भवन में आयोजित हुआ जहां पर महामहिम राष्ट्रपति जी के द्वारा अपनी उद्बोधन में कहा कि पंचायती राज संस्थाएं हमारे लोकतंत्र की आधारशिला है और निर्वाचित अनुसूचित जनजाति जन जाति की महिलाओं का सशक्तिकरण एवं उनकी समग्र विकास बहुत जरूरी है।