नई दिल्ली। Waqf Amendment Bill : केंद्रीय कैबिनेट ने 13 फरवरी को संसद में पेश की गई संयुक्त संसदीय समिति की रिपोर्ट के आधार पर वक्फ संशोधन विधेयक 2024 को मंजूरी दे दी है। इस विधेयक में वक्फ संपत्तियों के प्रबंधन और प्रशासन से संबंधित महत्वपूर्ण बदलाव किए गए हैं।
मुख्य प्रावधान
1. वक्फ बोर्ड में समावेशी प्रतिनिधित्व : अब वक्फ बोर्ड में गैर-मुस्लिम, महिलाओं और ओबीसी समुदाय के सदस्य भी शामिल होंगे।
2. पारिवारिक वक्फ में सुधार : पारिवारिक वक्फ संपत्तियों में विरासत संरक्षण और उचित अधिकार सुनिश्चित किए जाएंगे।
3. डिजिटल पंजीकरण : सभी वक्फ संपत्तियों को एक केंद्रीय डिजिटल पोर्टल पर पंजीकृत किया जाएगा, जिससे पारदर्शिता और निगरानी में सुधार होगा।
4. सरकारी संपत्तियों का निष्कासन : सरकारी स्वामित्व वाली संपत्तियों को वक्फ रिकॉर्ड से हटा दिया जाएगा, जिससे भूमि विवादों को कम किया जा सकेगा।
5. धार्मिक उपयोग का प्रतिबंध : लंबे समय तक धार्मिक उपयोग के आधार पर कोई भी व्यक्ति वक्फ संपत्ति पर दावा नहीं कर सकेगा।
6. अलग वक्फ बोर्ड : बोहरा और आगाखानी समुदायों के लिए अलग वक्फ बोर्ड स्थापित किया जाएगा।
भारत में वक्फ संपत्तियों का महत्व
भारत का वक्फ बोर्ड 1.2 लाख करोड़ रुपये की 8.7 लाख संपत्तियों का प्रबंधन करता है, जिससे यह भारतीय सशस्त्र बलों और रेलवे के बाद देश का तीसरा सबसे बड़ा भूस्वामी बन गया है। इन संपत्तियों का सही उपयोग सुनिश्चित करने और प्रबंधन में पारदर्शिता लाने के लिए यह संशोधन विधेयक अत्यंत महत्वपूर्ण माना जा रहा है।
विधेयक के संभावित प्रभाव
– संपत्तियों के डिजिटलीकरण से धोखाधड़ी और विवादों में कमी आएगी।
– गैर-मुस्लिम और अन्य समुदायों को बोर्ड में शामिल करने से निर्णय प्रक्रिया में व्यापक भागीदारी होगी।
– सरकारी संपत्तियों को वक्फ रिकॉर्ड से हटाने से प्रशासनिक अड़चनों को दूर किया जाएगा।
यह विधेयक संसद में चर्चा और मतदान के बाद कानून का रूप लेगा। इसके प्रभाव और क्रियान्वयन को लेकर विभिन्न समुदायों में चर्चा जारी है।