Entertainment: हिंदी सिनेमा की शुरुआत 1913 में दादा साहब फाल्के की फ़िल्म “राजा हरिश्चंद्र” से हुई, जो एक मूक (साइलेंट) फ़िल्म थी। उस दौर में न तो फिल्में बोलती थीं और न ही हीरोइनें पर्दे पर दिखती थीं। महिला किरदार भी पुरुष कलाकार निभाते थे। धीरे-धीरे सिनेमा ने विकास किया—पहले बोलती फिल्में आईं, फिर रंगीन दौर शुरू हुआ।
लेकिन क्या आप जानते हैं कि हिंदी सिनेमा का पहला ऑन-स्क्रीन किसिंग सीन 1933 में फिल्माया गया था? यह सीन फ़िल्म “कर्मा” में देविका रानी और हिमांशु राय के बीच फिल्माया गया था, और इसे इतिहास का सबसे लंबा किसिंग सीन भी माना जाता है। यह सीन करीब चार मिनट लंबा था, जो उस समय के हिसाब से बेहद बोल्ड था।
इतिहास का सबसे लंबा किसिंग सीन
‘कर्मा’ में पहली बार किसिंग सीन फिल्माया गया. देविका रानी और हिमांशु राय पर ही. IMDb के मुताबिक, करीब 4 मिनट (240 सेकंड) का ये किसिंग सीन था. जिसे सबसे लंबा किसिंग सीन बताया गया.
कर्मा की कहानी
‘कर्मा’ की कहानी की बात करें तो ये एक राजकुमारी की कहानी थी जो प्रिंस के प्यार में पड़ जाती है. हालांकि पिता इस प्यार के खिलाफ थे. इसे जेएल फ्रीर हंट ने डायरेक्ट किया था. ‘कर्मा’ के लिए इंडिया, जर्मन और यूके ने साथ में ही काम किया था.
रवींद्रनाथ से भी कनेक्शन
‘कर्मा’ की एक खास बाय ते भी थी कि इसे 1933 में लंदन में भी प्रीमियर किया गया था. विदेशी क्रिटिक्स ने देविका रानी के काम की खूब तारीफ की थी. देविका 1930-1940 की सुपरहिट एक्ट्रेस थीं जिन्होंने कर्मा से ही डेब्यू किया था. वह तब सबसे ज्यादा फीस ली जाने वाली हीरोइन भी बन गई थीं. उनका कनेक्शन रवींद्रनाथ टैगोर से भी है. दरअसल देविका की दादी, ठाकुर रवीन्द्रनाथ टैगोर की बहन थीं.
देविका रानी की शादी
देविका रानी और हिमांशु ने इस फिल्म से पहले ही शादी कर ली थी. हिमांशु और देविका दोनों ही पहले से शादीशुदा थे लेकिन फिर वह देविका के प्यार में पड़ गए. दोनों ने साल 1929 में शादी कर ली. फिर साथ में बॉम्बे टॉकीज में खूब काम किया. कई फिल्में बनाईं और हिंदी सिनेमा में योगदान दिया.
शराब और सिगरेट का था शौक
देविका मजबूत महिला थीं. पति के गुजरने के बाद उन्होंने ही बॉम्बे टॉकीज की बागडोर संभाली थी. जिस जमाने में लड़कियों का इंडस्ट्री में आना ही अच्छा नहीं माना जाता था. उस जमाने में उन्होंने ये कदम उठाया. न सिर्फ किसिंग सीन बल्कि वह शराब और सिगरेट की भी शौकीन थीं. उन्हें तो लोग ड्रैगन लेडी कहते थे. क्योंकि वह थोड़े गरम मिजाज की महिला थीं.