गरियाबंद। CG : जिले के ग्राम खट्टी स्थित शासकीय पूर्व माध्यमिक एवं प्राथमिक शाला में आज शाला प्रवेशोत्सव बड़े ही उत्साह और उल्लास के साथ मनाया गया। कार्यक्रम का उद्देश्य नवप्रवेशी बच्चों का विद्यालय से आत्मीय रिश्ता जोड़ना और उन्हें विद्यालय में घर जैसा वातावरण देना रहा।
कार्यक्रम की शुरुआत विद्यालय परिवार और ग्रामीण जनों की उपस्थिति में नवप्रवेशी विद्यार्थियों के स्वागत से हुई। बच्चों को तिलक लगाकर, खीर-पूरी खिलाकर और मुँह मीठा कराकर उनका अभिनंदन किया गया। इसके साथ ही उन्हें निःशुल्क गणवेश वितरित किए गए ताकि वे नये सत्र की शुरुआत आत्मविश्वास और उमंग के साथ कर सकें।
शाला प्रवेशोत्सव के अवसर पर सहायक शिक्षक गिरीश शर्मा ने कहा —
“यह आयोजन इसलिए किया जाता है ताकि नवप्रवेशी बच्चे विद्यालय आने में संकोच न करें। उन्हें अपने विद्यालय में घर जैसा माहौल मिले और वे बड़े बच्चों से घुलमिल कर शिक्षा ग्रहण करें। हमारा उद्देश्य ‘पढ़बो सब झन, गढ़बो जन जन’ के नारे को साकार करना है ताकि कोई भी बच्चा शिक्षा से वंचित न रहे।”
माध्यमिक शाला के प्रभारी प्रधान पाठक चैन सिंह यादव ने सभी बच्चों से नियमित रूप से विद्यालय आने का आग्रह करते हुए पालकों से अपील की कि वे भी इस दिशा में जागरूक रहें और बच्चों की पढ़ाई में रुचि लें। वहीं प्राथमिक शाला की प्रधान पाठक गीता चंद्राकर ने कहा कि —
“पालकगण अपने बच्चों को शिक्षा के साथ-साथ घर में संस्कारों की शिक्षा भी दें। तभी उनका सर्वांगीण विकास संभव है और वे अच्छे नागरिक बन सकेंगे।”
इस अवसर पर पहली और छठवीं कक्षा में नवप्रवेश लेने वाले बच्चों का विशेष सम्मान किया गया। कार्यक्रम के दौरान उन्हें तिलक लगाया गया, खीर-पूरी खिलाई गई और स्कूल ड्रेस प्रदान की गई। बच्चों के चेहरे पर खुशी और आत्मविश्वास की झलक साफ नजर आई।
कार्यक्रम में बड़ी संख्या में ग्रामीणजन और अभिभावकों की उपस्थिति रही। इस मौके पर कार्यक्रम में पंच रामप्रसाद ध्रुव, पूर्व पंच श्रीमती हेमबाई , ग्रामीण जन शांतू राम, प्रभु लाल यादव, हेमलाल पटेल, मनीष चंद्राकर, चैन सिंह यादव, देवेन्द्र कांशी, टी आमदे , गीता चंद्राकर, मीना यादव, एन बाइ, ममता निषाद, साधना चंद्राकर, चमेली ध्रुव, डिगेस्वरी ध्रुव, पूर्णिमा बाइ, नीरा बाई, दीपक ध्रुव, केशरी ध्रुव तामेस यादव, धर्मेंद्र ध्रुव समेत अनेक गणमान्य नागरिक उपस्थित रहे।
शाला प्रवेशोत्सव का यह आयोजन बच्चों, पालकों और शिक्षकों के बीच सहयोग व समर्पण की भावना को और मजबूत करने वाला सिद्ध हुआ। सभी ने एक स्वर में संकल्प लिया कि वे मिलकर शिक्षा की अलख को जलाएंगे और ग्राम खट्टी को शिक्षा के क्षेत्र में एक आदर्श गांव बनाएंगे।