जांजगीर-चांपा । आईजी ऑफिस में खुदकुशी करने वाला युवक पुलिस पर फर्जी मामला दर्ज कराने का दबाव बना रहा था। बिलासपुर आईजी रतन लाल डांगी ने खुदकुशी मामले में कहा है कि, युवक जांजगीर पुलिस पर फर्जी एट्रोसिटी एक्ट और कार्रवाई रोकने का मामला दर्ज कराना चाहता था। मामला दर्ज नहीं होने पर आईजी ऑफिस में जहर खा कर आत्महत्या की कोशिश की थी। खुदकुशी की कोशिश करने वाला युवक आदतन बदमाश है, जिसके खिलाफ लूटपाट का मामला भी दर्ज है। जबकि पुलिस पहले यह सुनिश्चित करती हैं कि किसी भी निर्दोष पर अनावश्यक एफआईआर दर्ज न होने पाएं, उक्त युवक पर भले ही लूट का मामला दर्ज हैं पर फिर भी युवक कि शिकायत कि भी जांच की गई थी,पर शिकायत झूठी निकली थी।
बता दें कि जांजगीर जिले के मालखरौदा थाना क्षेत्र के निवासी 32 वर्षीय युवक ने गांव के सरपंच द्वारिका प्रसाद चन्द्रा पर अपनी पत्नी से छेड़छाड़ का आरोप लगाते हुए मालखरौदा थाने में शिकायत कि थी। युवक ने आरोप लगाया कि गांव के सरपंच ने 12 दिसम्बर 2020 को उसकी पत्नी के साथ छेड़छाड़ की थी इसका विरोध करने पर सरपंच ने मारपीट करते हुए युवक पर टंगिया से हमला कर दिया था। युवक ने इसकी शिकायत मालखरौदा और अजाक थाने में की थी, पर थाने में सरपंच के खिलाफ कार्रवाई नहीं की गई बल्कि पुलिस ने सरपंच के साथ ही साठ गांठ कर उल्टे उसी के खिलाफ लूट पाट का मामला दर्ज कर लिया। उसने जांजगीर कलेक्टर और एसपी कार्यालय में भी आवेदन दिया पर कोई कार्रवाई नहीं हुई। इस वजह वो बुधवार दोपहर को 12 बजे आईजी आफिस पहुँचा,इस दौरान आईजी आफिस में मौजूद नहीं थे। युवक ने अपना आवेदन कार्यालय में दिया और पावती लेते वक्त जेब से जहरीला पदार्थ निकाल कर पी लिया था। इसके बाद युवक को तत्काल सिम्स में भर्ती करवाया गया हैं जहाँ उसका उपचार जारी हैं।
वहीँ पुलिस रिकार्ड के अनुसार युवक आदतन अपराधी हैं, और जिस पत्नी के साथ हुई छेड़छाड़ का अपराध दर्ज करवाना चाहता था उसी पत्नी ने खुद उसके खिलाफ बच्चा नही होने पर प्रताड़ित करने का मामला दर्ज करवाया था,जिस पर पुलिस ने 498 ए,323 का मामला दर्ज किया था।इसके अलावा 28 मई 2011को उसके खिलाफ जमीन में बोर खुदवाने के विवाद में घर घुस कर मारपीट लूट, गाली गलौच और तलवार से मारपीट व धमकी दे कर 20 हजार लूट करने के तहत एफआईआर दर्ज हुई हैं। फिलहाल इस पूरे मामले की जांच पुलिस कर रही है।