कोलकाता। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने रविवार को पश्चिम बंगाल के बशीरहाट दक्षिण में एक चुनावी जनसभा को संबोधित किया। उन्होंने एलान किया कि बंगाल में भाजपा की सरकार बनने पर शरणार्थियों के लिए सीएम शरणार्थी कल्याण योजना शुरू की जाएगी।
अमित शाह ने कहा कि कुछ युवाओं ने ममता दीदी के बहकावे में आकर बूथ पर हमला कर दिया। CISF के हथियार छीनने का प्रयास किया। CISF को मजबूरी में गोली चलानी पड़ी जिसमें चार युवाओं की जान चली गई। मैं पूछना चाहता हूं कि युवाओं ने ऐसी हिम्मत क्यों की… दीदी बौखलाई हुई हैं और हर दिन ये ही बात करती हैं कि अमित शाह इस्तीफा दें। दीदी जब जनता मुझे कहेगी तब मैं इस्तीफा दे दूंगा, मगर आप इस्तीफा तैयार रखो 2 मई को आपको इस्तीफा जरूर देना पड़ेगा।
केंद्रीय गृह मंत्री ने कहा कि कुछ दिन पहले TMC की एक नेता ने बयान दिया कि दलित समाज के लोग स्वभाव से भिक्षा मांगने वाले हैं। दीदी आपके लोग ये क्या कह रहे हैं? जो गौरव से रह रहे हैं आप उनको भिखारी कह रही हैं, उनका अपमान कर रही हैं। दीदी अगर जरा भी शर्म बची है तो उनको बेदखल कर दो।
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि दीदी सीएए का विरोध करती हैं क्योंकि शरणार्थियों को नागरिकता मिलने वाली है। उनको तकलीफ है कि घुसपैठिए नाराज होंगे। सीएए के खिलाफ दीदी ने जो प्रस्ताव लाया था, हम वापस लेंगे। शरणार्थियों के लिए सीएम शरणार्थी कल्याण योजना शुरू करेंगे। उनको सालाना 10,000 रूपये सहायता दी जाएगी।
शाह ने कहा कि कुछ ही दिन पहले उसी सीट पर ममता दीदी की बैठक थी। दीदी ने उसमें सरेआम ऐलान किया कि युवाओं और महिलाओं आगे आओ, CAPF को घेर लो और उन पर हमला करो। दीदी आप तो कहकर चली गईं मगर आपके कारण उन चार युवाओं की मौत हो गई। उसी विधानसभा में उसी दिन सुबह भाजपा के एक कार्यकर्ता की TMC के गुंडों ने दिनदहाड़े गोली मारकर हत्या कर दी। दीदी आप इन चार लोगों के लिए तो आंसू बहाती हैं। मैं पूछना चाहता हूं कि भाजपा के जिस 5वें कार्यकर्ता की मौत हुई उसके लिए आपकी कोई जिम्मेदारी नहीं है क्या?