रायपुर। छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर से लेकर प्रदेश के हर हिस्से में 2 साल बाद धूमधाम से दीपावली मनाई गई। लोग दिवाली मनाने में इस कदर व्यस्त थे क्यों नहीं न्यायालय और प्रशासनिक निर्देशों का अहसास तक नहीं रहा। प्रशासनिक निर्देश के मुताबिक रात 8:00 से 10:00 बजे तक ही पटाखे जलाने की अनुमति थी, लेकिन पूरे प्रदेश में रात 12:00 बजे तक आतिशबाजी होती रही।
प्रशासन ने आदेश जारी कर दिया था लेकिन सुप्रीम कोर्ट देश में राहत दी थी। इसकी वजह से पुलिस प्रशासन ने भी दिवाली मनाने वालों के आनंद में किसी तरह का खलल नहीं डाला। समय से आगे जाकर भी लोगों की आतिशबाजी का सिलसिला चलता रहा। काफी समय बाद भी जब पुलिस नहीं आई तो लोगों के हौसले बढ़ गए।
दरअसल NGT ने देश में बढ़ते प्रदूषण को ध्यान में रखते हुए इस बार आतिशबाजी को सीमित करने का मशवरा दिया था। इस मशवरे को गंभीरता से लेते हुए उच्च न्यायालय ने सख्ती लागू कर दी थी। जिस पर सुप्रीम कोर्ट ने फटकार लगाते हुए आदेश को निरस्त कर दिया था।
दिवाली के मौके पर हुई आतिशबाजी ने एक ही दिन में प्रदूषण के स्तर को काफी ज्यादा बढ़ा दिया है। आने वाले दिनों में इसके गंभीर परिणाम देश और प्रदेश जनता को ही भुगतना पड़ेगा इस बात से इंकार नहीं किया जा सकता।