तीजा-पोला की तैयारी। श्रीमती जी ने ठेठरी, खुरमी और चूरमा जैसे पारंपरिक पकवान तैयार कर दिए हैं।
शादी के बाद से ही मैंने उन्हें हर तीज त्योहार पर इतनी ही लगन से पकवान अपने हाथों से बनाते देखा है।
तीजा-पोला की तैयारी। श्रीमती जी ने ठेठरी, खुरमी और चूरमा जैसे पारंपरिक पकवान तैयार कर दिए हैं।
शादी के बाद से ही मैंने उन्हें हर तीज त्योहार पर इतनी ही लगन से पकवान अपने हाथों से बनाते देखा है। pic.twitter.com/6iFXaYmCO0
— Bhupesh Baghel (@bhupeshbaghel) August 26, 2022
तीजा-पोला की तैयारी। श्रीमती जी ने ठेठरी, खुरमी और चूरमा जैसे पारंपरिक पकवान तैयार कर दिए हैं।
शादी के बाद से ही मैंने उन्हें हर तीज त्योहार पर इतनी ही लगन से पकवान अपने हाथों से बनाते देखा है।
बता दें कि प्रदेश का लोकपर्व पोरा 28 अगस्त को मनाया जाएगा। इस दिन शहर की गलियों और मोहल्लों में दौड़ लगाने के लिए नांदिया बइला तैयार हो गए हैं। बाजारों में बिक्री के लिए पहुंचे इन बैलों की कीमत 40 से 80 रुपए प्रति जोड़ी है। जांता-पोरा और मिट्टी के दूसरे खिलौने भी 120-160 रुपए तक उपलब्ध हैं।
गौरतलब है कि छत्तीसगढ़ में पोरा पर बैलों को सजाने और दौड़ कराने की परंपरा पुरानी है,